भ्रष्टाचार पर सर्जिकल स्ट्राइक, बाबुओं का होगा तबादला

Last Updated 11 Nov 2018 05:25:41 AM IST

आम चुनाव से ठीक पहले केंद्र सरकार अपने सभी बाबुओं को ताश के पत्तों की तरफ फेंटना चाहती है।


भ्रष्टाचार पर सर्जिकल स्ट्राइक, बाबुओं का होगा तबादला

एक तरफ जहां इस कदम को भ्रष्टाचार के खिलाफ सर्जिकल स्ट्राइक माना जा रहा है, वहीं बाबुओं में नाराजगी है।
कार्मिक मंत्रालय ने सभी केंद्रीय मंत्रालयों को एक पत्र भेजकर जानकारी मांगी है कि कें द्रीय सचिवालय सेवा (सीएसएस) में कौन-सा अधिकारी कितने सालों से एक ही मंत्रालय या एक ही पद पर तैनात है। मंत्रालयों से दो नवंबर तक सूची भेजने को कहा गया था। इसके बाद कार्मिक मंत्रालय सेक्शन ऑफिसर, अवर सचिव और उप सचिव तक के स्थानांतरण करेगा।
सूत्रों का कहना है कि केंद्र सरकार में दो श्रेणियों के मंत्रालय हैं। रक्षा, वित्त, कृषि, गृह, रेल, पीएमओ, वाणिज्य जैसे मंत्रालयों को ‘ए’  श्रेणी में और जल संसाधन, सूचना एवं प्रसारण जैसे मंत्रालयों को ‘बी’ श्रेणी में शामिल किया गया है। रोटेशनल ट्रांसफर पॉलिसी के तहत, जो एसओ 10 तक, अवर सचिव 5 पांच और उपसचिव 4 साल तक एक ही मंत्रालय में तैनात हैं, उनकी श्रेणी बदल दी जाएगी। यानि ‘ए’ श्रेणी के मंत्रालयों में काम कर रहे बाबुओं को ‘बी’ श्रेणी में और ‘बी’ श्रेणी के मंत्रालयों में काम कर रहे कर्मचारियों को ‘ए’ श्रेणी स्थानांतरित किया जाएगा।

सीएसएस कैडर के कर्मचारियों और अधिकारियों की संख्या करीब 24,000 है, जिनमें से आठ हजार कर्मचारियों पर नए आदेश का असर पड़ेगा। सरकारी सूत्रों का कहना है कि एक कर्मचारी के एक ही जगह ज्यादा रहने पर भ्रष्टाचार बढ़ सकता है, यह कोई दुरुपयोग भी कर सकता है। इसलिए मंत्रालय बदलने से इस तरह की प्रवृत्ति पर रोक लगेगी। दूसरी ओर सीएसएस कैडर का कहना है कि चुनाव के मौके पर बड़े पैमाने पर स्थानांतरित करने से सरकारी मशीनरी ठप्प हो सकती है। अभी सरकार जल्दबाजी में और फटाफट काम कर रही है। नए आदमी के आने से काम प्रभावित होगा, क्योंकि नए आदमी को काम समझने के लिए समय चाहिए।

सहारा न्यूज ब्यूरो/रोशन


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