घर में नहीं सफाई तो भुगतने के लिए तैयार रहें 10 गुना जुर्माना
डेंगू, मलेरिया और चिकनगुनिया जैसी वैक्टर बॉर्न डिजीज (वीसीडी) बीमारियों की दिल्ली पर हर साल पड़ती मार को लेकर नई दिल्ली नगर पालिका परिषद (एनडीएमसी) न्यू प्लानिंग में जुटी है.
(फाइल फोटो) |
दिल्ली की सभी स्वास्थ्य एजेंसियों का मानना है कि लोग लापरवाह हैं. बार-बार बोलने के बाद भी सफाई नहीं करते फिर चाहे नोटिस दो या चालान काटो. एनडीएमसी ने एमसीडी की इन दलीलों का समर्थन किया है.
बताया जा रहा है कि दिल्ली सरकार भी इससे सहमत है, इसलिए जुर्माना राशि 10 गुना बढ़ाने का प्रस्ताव तैयार किया गया है. हालांकि यह प्रस्ताव तीन दिन पहले दिल्ली सरकार और एमसीडी के बीच हुई बैठक में रखा गया था.
एमसीडी में स्वास्थ्य सेवाओं के निदेशक डा. डीके सेठ ने कहा कि नगर निगम के तीन जोन के प्रस्ताव के साथ ही दिल्ली सरकार की स्वास्थ्य एजेंसियों के अधिकारी भी इस मामले में अपनी सहमति दे चुके हैं. जुर्माना राशि एमसीडी और एनडीएमसी की बोर्ड मीटिंग में ही बढ़ाई जा सकेंगी. लेकिन इसकी फाइल दिल्ली सरकार के पास भी भेजी जाएगी.
घर और आसपास रखें सफाई, न जमा होने दें पानी
अधिकारी ने कहा कि उम्मीद है कि अक्टूबर के पहले सप्ताह में जुर्माना राशि बढ़ाने की घोषणा की जा सकती है. प्रस्ताव में 5 हजार से 25 हजार रुपए तक जुर्माना तय करने की योजना बनाई गई है.
विशषज्ञों के साथ ही स्वच्छता अभियान से जुड़े अधिकारियों का मानना है कि यदि लोग अपने घर में और आसपास सफाई रखते हैं तो मच्छरों पर नियंत्रण लग सकता है. पानी एकत्रित न होने देना, टंकियों की नियमित सफाई कराना, आसपास के गड्ढों में जलभराव न होने देना आदि.
सख्ती है जरूरी
दिल्ली सरकार के स्वास्थ्य मंत्री सत्येंद्र जैन ने कहा कि हम दिल्लीवासियों की सेहत की भलाई के लिए हर वह सख्त कदम उठाएंगे जिससे उनका जीवन बचाया जा सके.
बता दें कि जुलाई, अगस्त और सितम्बर के दौरान लाखों लोग वायरल फीवर और 4 हजार से ज्यादा लोग डेंगू और चिकगुनिया के शिकार हुए हैं. अब तक 38 लोगों की मौत हो चुकी है.
मच्छरों के इस आतंक से निपटने के लिए स्वास्थ्य एजेंसियां लगातार लार्वा सर्चिंग अभियान जला रही हैं लेकिन बढ़ते मरीजों की संख्या यह साबित कर रही है जो भी प्रयास हो रहे हैं वे नाकाफी और सिर्फ कागजी हैं.
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