'ये मेरे वतन के लोगों'

PICS : देश भक्ति की भावना से ओतप्रोत गीत लिखने में माहिर थे कवि प्रदीप

6 फरवरी 1915 को मध्यप्रदेश के छोटे से शहर मे मध्यमवर्गीय बासण परिवार में जन्में प्रदीप को बचपन के दिनों से ही हिन्दी कविता लिखने का शौक था जिसे वह कवि सम्मेलनों में पढक़र सुनाया करते थे. 1939 में लखनऊ विश्वविद्यालय से स्नातक तक की पढ़ाई करने के बाद उन्होंने शिक्षक बनने का प्रयास किया लेकिन इसी दौरान उन्हें मुंबई मे हो रहे एक कवि सम्मेलन में हिस्सा लेने का न्योता मिला.

 
 
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