उत्तराखंड में ढैंचा बीज मामले में सरकार से जवाब मांगा

Last Updated 21 Jul 2015 05:45:38 AM IST

नैनीताल उच्च न्यायालय ने गाजियाबाद निवासी जय प्रकाश डबराल की एक जनहित याचिका पर सुनवाई के बाद सरकार को तीन सप्ताह में जवाब दाखिल करने के निर्देश दिये हैं.


नैनीताल उच्च न्यायालय

इसके साथ ही याचिकाकर्ता को दो सप्ताह में रिवाइंडर सर्टिफिकेट देने को कहा है. उच्च न्यायालय ने मामले की सुनवाई की अगली तिथि दो सितम्बर तय कर दी है.

मामले के अनुसार याचिकर्ता द्वारा हाईकोर्ट में एक जनहित याचिका दायर कर कहा था कि वर्ष 2005-2006 में उत्तराखंड में खरीब फसल को बढ़ावा देने के लिए ढैंचा बीज का वितरण की योजना बनाई.

इसके बाद नौ फरवरी 2010 को तत्कालीन निदेशक कृषि विभाग ने योजना को कार्यान्वित करने के लिए आवश्यक दिशा निर्देश दिये.

इसी दिन हरिद्वार, ऊधमसिंह नगर, देहरादून व चंपावत में 14,900 क्विंटल बीज की आवश्यकता बताते हुए टेंडर करा दिये गए. इसमें टेंडर 60 प्रतिशत अधिक दरों पर कराए गये और गत वर्ष सप्लाई भी अधिक कर दिया.

25 फरवरी 2010 को बिना टेंडर प्रक्रिया अपनाए निजी संस्था निधि सीडस को ठेका दे दिया गया.

वर्ष 2013 में इस मामले की जांच के लिए त्रिपाठी समिति का गठन हुआ. मगर इस प्रकरण में आरोपित को सही पाया गया.

इस मामले की सुनवाई न्यायमूर्ति केएन जोसेफ व न्यायमूर्ति वीके बिष्ट की खंडपीठ में चल रही है.



Post You May Like..!!

Latest News

Entertainment