उस्ताद बिस्मिल्ला खान के पोते ने ही चुरायी थी उनकी शहनाइयां

Last Updated 11 Jan 2017 03:22:07 PM IST

भारत रत्न शहनाई वादक स्व. बिस्मिल्ला खान की ऐतिहासिक चांदी की शहनाई चोरी के मामले में पुलिस ने न जाने कहां-कहां की खाक छानी लेकिन जब खुलासा हुआ तो उसने सभी को चौंका दिया.


भारत रत्न शहनाई वादक स्व. बिस्मिल्ला खान (फाइल फोटो)

दरअसल, शहनाई चोर कोई और नहीं बल्कि उस्ताद का पोता ही निकला. एसटीएफ की टीम ने मंगलवार को उनके पोते नजरे हसन उर्फ शादाब को गिरफ्तार करने के साथ ही उन दो सराफा कारोबारियों को भी धरदबोचा जिन्होंने शहनाई की गलायी गयी चांदी खरीदी थी.

सोनार के यहां से एक किलो 66 ग्राम चांदी भी बरामद की है. इसके अलावा 42 सौ रुपये और एक मोबाइल फोन भी मिला है.

कर्जा चुकाने के लिए चुरायी थी शहनाई

उस्ताद के पुत्र काजिम हुसैन के पुत्र नजरे हसन ने बताया कि उसने कुछ लोगों से उधार रुपये ले रखे थे. कर्ज चुकता करने के लिए उसने दादा की शहनाई पर हाथ साफ कर दिया.

उस्ताद की ऐतिहासिक चांदी की शहनाई और मोहर्रम विशेष पर बजायी जाने वाली शहनाई बीते पांच दिसम्बर को चोरी चली गयी थी. पुलिस के काफी तलाश के बाद भी कुछ पता नहीं चला, इसके खुलासे के लिए एसटीएफ को भी लगाया गया.

अपर पुलिस अधीक्षक ज्ञानेन्द्र नाथ के निर्देशन में एसटीएफ की स्थानीय इकाई ने खोजबीन शुरू की. टीम को जो सुराग मिले उस पर उन्हें विश्वास नहीं हुआ कि ऐसा हो सकता है. इसके बाद एसटीएफ ने पारिवारिक सदस्यों की निगरानी शुरू की तो पता चला कि शहनाई को उनके पोते ने ही गायब की है. निगरानी में जुटी एसटीएफ की टीम को पता चला कि वह मंगलवार को शहर छोड़कर आसाम जाने वाला है, वह शायद निकल भी जाता लेकिन ट्रेन के विलंबित होने के कारण अपने मंसूबों में सफल नहीं हो सका.

एसटीएफ प्रभारी शैलेन्द्र प्रताप सिंह और इंस्पेक्टर विपिन राय के साथ टीम ने हड़हा बीर बाबा मंदिर, चौक के पास सटीक मुखबिरी के आधार पर उसे धरदबोचा.

नजरे हसन उर्फ शादाब को गिरफ्तार करने के बाद उसके पास से बेची गयी शहनाई के 42 सौ रुपये के अलावा एक लकड़ी की शहनाई भी मिली. इसके बाद उसकी निशानदेही पर सराफा कारोबारी सुजीत कुमार और शंकर लाल को गिरफ्तार कर लिया जिनके पास से चांदी बरामद हुई.

एसटीएफ का कहना है कि पूछताछ में नजरे हसन ने बताया कि तीन चांदी की शहनाई के साथ एक अन्य शहनाई जिसमें चांदी लगा हुआ था, उससे चांदी का पत्तर निकालकर चौक थानान्तर्गत छोटी पियरी स्थित शंकर ज्वेलर्स में शंकर लाल सेठ और सुजीत सेठ को महज 17 हजार रुपये में बेच दिया था. उसने बताया कि उसके पास जो रुपये मिले उसमें के ही बरामद रुपये 42 सौ रुपये हैं.

पूर्व प्रधानमंत्री और मुख्यमंत्री ने दी थी शहनाइयां

उस्ताद के पोते ने जिन शहनाई को कौड़ियों के दाम पर बेच दिया उनका ऐतिहासिक महत्व था. तीन शहनाई में एक पूर्व प्रधानमंत्री नरसिम्हाराव, दूसरी पूर्व मुख्यमंत्री लालू प्रसाद यादव, तीसरी शहनाई पूर्व केंद्रीय मंत्री कपिल सिब्बल ने उपहार के तौर पर प्रदान की थी.

मुहर्रम पर बजायी जाने वाली शहनाई भी गयी थी चोरी

उस्ताद बिस्मिल्ला खां द्वारा मुहर्रम की 8वीं व 10वीं तारीख को विशेष रूप से बजायी जाने वाली शहनाई को भी पोते ने चुरा ली थी. उस पर चांदी की पत्ती चढ़ी थी. शहनाइयां अंतरराष्ट्रीय महत्व की होने के साथ राष्ट्रीय धरोहर के रूप में थीं.

डीजीपी ने दी शाबासी

उस्ताद की ऐतिहासिक शहनाई के चोरी होने के बाद उसकी बरामदगी के लिए तमाम टीमें लगी थी. इसका खुलासा करने में एसटीएफ को सफलता मिली. टीम के सदस्यों का कहना है कि इस सफलता के लिए खुद डीजीपी ने भी पूरी टीम को बधाई दी है.

सहारा न्यूज ब्यूरो


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