सहारनपुर के दंगा क्षेत्र की ड्रोन से निगरानी, कर्फ्यू में ढील दी जाएगी

Last Updated 28 Jul 2014 06:07:28 AM IST

सहारनपुर दंगे में तीन लोगों की मौत और 18 लोगों के घायल होने के बाद यहां के सभी छह थाना क्षेत्रों में लगाया गया कर्फ्यू रविवार को दूसरे दिन भी जारी रहा.


निर्माणाधीन वह विवादित स्थल जिसे लेकर दो समुदायों में संघर्ष हुआ.

दंगाग्रस्त क्षेत्रों की निगरानी के लिए राज्य प्रशासन ने ड्रोन कैमरा सहारनपुर भेजा है, ताकि संकरी गलियों की सही सूरतेहाल का पता चल सके. दूसरे दिन कहीं से भी किसी वारदात की सूचना नहीं है. अलबत्ता हिंसक वारदात के सिलसिले में पुलिस- प्रशासन ने 38 लोगों को गिरफ्तार किया है. 

सहारनपुर की जिलाधिकारी संध्या तिवारी ने बताया कि रविवार को किसी तरह की अप्रिय घटना की सूचना नहीं है और स्थिति धीरे-धीरे सामान्य हो रही है. उन्होंने बताया कि सोमवार को सहारनपुर के नए शहरी क्षेत्र में सुबह 10 बजे से दोपहर 2 बजे तक और पुराने शहर में दोपहर 3 बजे से शाम 7 बजे तक कर्फ्यू में ढील दी जाएगी. कर्फ्यू में ढील के दौरान बाजार खुलेंगे और लोग अपनी जरूरत का सामान खरीद सकेंगे.

तिवारी ने  संवाददाताओं को बताया कि सहारनपुर में हिंसा में 33 लोग घायल हुए हैं जबकि मृतकों की संख्या तीन है. इस बीच, राजनीतिक दलों में आरोप प्रत्यारोप का दौर जारी है.           

भाजपा नेता शहनवाज हुसैन ने कहा ‘उत्तर प्रदेश सरकार प्रशासन चलाने में पूरी तरह नाकाम रही है. शासन में बैठे लोग खुद चाहते हैं कि सांप्रदायिक तनाव रहे ताकि वह वोट बैंक की राजनीति कर सकें.’ कांग्रेस की रीता बहुगुणा ने ‘प्रशासनिक खामी’ के लिए स्थानीय अधिकारियों को दोषी ठहराते हुए कहा कि अगर यह सच है कि इस मुद्दे पर अदालत ने फैसला दिया था और एक पक्ष ने पुलिस की मदद मांगी थी तो दोनों पक्षों को यह समझाने की जिम्मेदारी राज्य सरकार की थी कि अदालत के आदेश का पालन करना चाहिए.

कर्फ्यू के चलते दूसरे दिन सड़कों पर सन्नाटा पसरा रहा. लोग अपने घरों में कैद रहे. सिर्फ पुलिस व प्रशासन की गाड़ियां सायरन बजाती सड़कों पर दौड़ती रहीं. रेलवे स्टेशन के अधिकांश प्लेटफार्म पर इक्का- दुक्का यात्री ही नजर आए.

राज्य सरकार ने एडीजी देवेन्द्र सिंह चौहान को भी सहारनपुर भेजा है, ताकि वह स्थिति को सामान्य बनाने में प्रशासन की मदद कर सकें. चौहान वहां पहुंच गए हैं. डीजीपी मुख्यालय ने उपद्रवियों पर काबू पाने के लिए द्रोण कैमरा भी सहारनपुर भेजा है, ताकि संकरी गलियों में भाग कर पनाह लेने वाले उपद्रवियों व छतों पर पत्थर आदि जमा करने  वाले लोगों की पहचान की जा सके. प्रदेश सरकार ने संकेत दिये हैं कि सहारनपुर में भड़की हिंसा में लापरवाही बरतने वाले अधिकारियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी.

दरअसल, धार्मिक स्थल के बगल की जमीन को लेकर उपजे विवाद की जानकारी होने के बाद भी स्थानीय प्रशासन ने इसे गंभीरता से नहीं लिया. नतीजतन, वहां हिंसा भड़क गयी. राज्य सरकार को सहारनपुर से जो जानकारी मिल रही है, उससे पता चलता है कि स्थानीय अभिसूचना इकाई को इस बात की भनक तक नहीं लगी कि शनिवार को वहां सुनियोजित तरीके से विवादित जमीन पर बवाल करने की तैयारी है. मुख्यमंत्री अखिलेश यादव इस मामले की रिपोर्ट पहले ही तलब कर चुके हैं. माना जा रहा है कि रिपोर्ट मिलने के बाद लापरवाह अधिकारियों का निलंबन भी हो सकता है.

बताते चलें कि शनिवार को सहारनपुर शहर में अल्पसंख्यक समुदाय द्वारा गुरुद्वारा श्री गुरु सिंह सभा द्वारा निर्माणाधीन भवन पर लेंटर डालने के विवाद में थाना कुतुबशेर के सामने जाम लगाया था. इसी बीच अराजक तत्वों ने सिख समुदाय के लोगों के ऊपर पथराव कर दिया जिसने देखते ही देखते दंगे का रूप ले लिया.

इस हिंसा में तीन लोगों की जान गई जबकि 18 लोग घायल हुए. लगभग 6 घंटे तक अराजक तत्वों का नंगा नाच चला. दर्जनों दुकानें व वाहन आग के हवाले कर दिए गए. हालात पर काबू पाने को आखिरी हथियार के रूप में शासन को आरएएफ और अर्धसैनिक बलों की तैनाती के साथ शहर के सभी थाना क्षेत्रों-कोतवाली सदर बाजार, थाना देहात कोतवाली, थाना जनकपुरी, थाना मंडी कोतवाली, थाना कुतुबशेर में कर्फ्यू लगा देना पड़ा. स्थिति पर काबू पाने के लिए लखनऊ से सचिव भुवनेश कुमार व डीआईजी दीपक रतन को भी सहारनपुर भेजा गया.

कर्फ्यू के मद्देनजर किसी भी वाहन को महानगर में प्रवेश नहीं करने दिया गया जिसके चलते रेलवे रोड स्थित देहरादून, हरिद्वार बस स्टैंड, झबरेडा रोड जाने वाली प्राइवेट बसों के स्टैंड के साथ टैक्सी स्टैंड भी सूना पड़ा रहा. यही हाल अंबाला रोड स्थित प्राइवेट बस स्टैंड का भी रहा. ईद के मद्देनजर अपने घरों को लौट रहे लोगों को रेलवे स्टेशन परिसर से उनके गंतव्य तक पहुंचाया गया.

मंडलायुक्त भुवनेश कुमार, पुलिस महानिरीक्षक दीपक रतन, जिलाधिकारी श्रीमती संध्या तिवारी, वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक राजेश कुमार पांडेय, अपर जिलाधिकारी (प्रशासन) दिनेश चंद्र व अपर जिलाधिकारी सैय्यद निजामुद्दीन के अलावा सभी सेक्टर मजिस्ट्रेट व पुलिस उपाधीक्षकों ने महानगर के विभिन्न इलाकों में भ्रमण कर स्थिति का जायजा लिया.



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