बनारस की चुनावी लड़ाई में पीछे छूटे स्थानीय मुद्दे

Last Updated 18 Apr 2014 12:04:58 PM IST

उत्तर प्रदेश की वाराणसी लोकसभा निर्वाचन क्षेत्र में चुनावी लड़ाई प्रतिष्ठा का प्रश्न बन गई है और यहां स्थानीय मुद्दे पीछे छूट गए हैं.


Varanasi

यहां से प्रधानमंत्री पद के भाजपा के उम्मीदवार नरेंद्र मोदी के पार्टी प्रत्याशी होने और आम आदमी पार्टी के मुखिया अरविन्द केजरीवाल द्वारा उन्हें चुनौती देने की वजह से पूरे देश की नजरें इस संसदीय सीट पर लगी हैं.

शहर की सड़कों पर अभूतपूर्व यातायात की स्थिति उत्पन्न हो गई है क्योंकि देशभर से न सिर्फ भाजपा, बल्कि अन्य दलों के नेता और स्वयंसेवी बड़ी संख्या में प्रचार के लिए यहां पहुंच रहे हैं.

वाराणसी में 12 मई को मतदान होना है. मोदी के समर्थन में भाजपा के हजारों स्वयंसेवी पहले ही पहुंच चुके हैं और इस कतार में आम आदमी पार्टी भी ज्यादा पीछे नहीं है. सपा और बसपा जैसे दलों ने भी आसपास के क्षेत्रों से अपने कैडरों को सक्रिय कर दिया है.

हालांकि, दलों के नेता मुश्किल से ही स्थानीय मुद्दों के बारे में बात कर रहे हैं. इस मंदिर नगरी से मोदी के प्रत्याशी होने की वजह से भाजपा के लिए जहां यह प्रतिष्ठा की सीट बन गई है, वहीं दूसरे सभी दल मोदी को हराने के लिए लड़ाई लड़ते प्रतीत होते हैं. इस निर्वाचन क्षेत्र में मुसलमान मतदाताओं की संख्या भी अच्छी खासी है.



Post You May Like..!!

Latest News

Entertainment