युवा अपनी क्षमता पहचानें और बड़े सपने देखें : कलाम
जयपुर लिटरेचर फेस्टिवल (जेएलएफ) में शनिवार को पूर्व राष्ट्रपति डा. एपीजे अब्दुल कलाम का सेशन मुख्य आकषर्ण का केंद्र रहा.
जयपुर लिटरेचर फेस्टिवल को संबोधित करते पूर्व राष्ट्रपति एपीजे अब्दुल कलाम. |
डा.कलाम ने भी अपने चिरपरिचित अंदाज में विचार पेश किए. उन्होंने बच्चो और युवाओं को देश का भविष्य बताते हुए कहा कि वे अपनी क्षमताएं पहचानें और बड़े सपने देखें. डा. कलाम ने उन्हें सफलता का मंत्र बताते हुए कहा कि बड़े सपने और उनके लिए किया गया परिश्रम ही मनुष्य को बुलंदी तक पहुंचाता है इसलिए खुद की क्षमता पहचानो और छोटे लक्ष्य मत बनाओ.
डा. कलाम ने बच्चों से कहा कि हार से भी सबक लो और अगली बार उन कमियों को दूर कर रणनीति के साथ आगे बढ़ो. हार में भी जीत का सबक छिपा होता है. उसे समझने की जरूरत है. उन्होंने युवाओं को निराशा से दूर रहने और अपने लक्ष्य के प्रति समर्पित होने का आह्वान किया. उन्होंने बताया कि सफलता का रास्ता आपके सपनों और उनके लिए ईमानदारी से की गई मेहनत से ही निकलता है.
डा. कलाम से संवाद के लिए बच्चों ने काफी तैयारी की थी और उनसे पूछने के लिए सवाल भी सोच रखे थे लेकिन जेएलएफ में भीड़ के मुताबिक प्रबंध न होने के कारण उनके अरमान पूरे नहीं हो सके. हालत यह थी कि कार्यक्रम स्थल पर कदम रखने की भी जगह शेष नहीं बची थी. क्षमता से ज्यादा लोगों के इकट्ठा होने पर दरवाजे बंद कर दिए गए. इससे कई बच्चे और युवा तो कलाम को देख तक नहीं सके.
डा. कलाम के आने से पहले ही यह संभावना जताई जा रही थी कि उनकी लोकप्रियता के कारण काफी भीड़ आएगी, लेकिन आयोजकों ने उसके अनुसार प्रबंध नहीं किए और इससे कई लोगों को मायूसी ही हासिल हुई. कलाम के आने की खबर सुनते ही वहां भारी तादाद में लोग जुट गए. कार्यक्रम खासतौर से बच्चों के लिए था लेकिन बड़े भी कलाम की एक झलक के लिए बेसब्री से इंतजार कर रहे थे.
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