पर्यटक राजस्थान में मेले और त्यौहारों का लुत्फ उठा सकेंगे
राजस्थान आने वाले देशी-विदेशी पर्यटकों को त्यौहारों, सांस्कृतिक, धार्मिक, आध्यात्मिक और विरासत से जोड़ने के लिए तैयारियां जोरों पर हैं.
Rajasthan fairs and festivals (file photo) |
राजस्थान के पर्यटन विभाग के निदेशक विक्रम सिंह ने बताया कि राजस्थान में इस महीने से साल के अंत तक मेलों और त्यौहारों का मौसम शुरू हो जायेगा.
उन्होंने बताया कि विश्व प्रसिद्ध पुष्कर मेले सहित अन्य मेले जिनका धार्मिक, आध्यत्मिक, सांस्कृतिक महत्व है, पयर्टन विभाग पर्यटकों को इनसे जोड़ने के लिये तैयारी कर रहा है.
उन्होंने बताया कि इन मेलों का आयोजन पर्यटन विभाग स्थानीय निकायों के सहयोग से करता है. मेलों में पर्यटक राजस्थान की लोक संस्कृति , खेलकूद प्रतियोगिता, जुलूस, विभिन्न व्यंजन, कला और शिल्प प्रदर्शन, दीपदान आदि का आंनद ले सकेंगे.
सिंह ने बताया कि इस माह के अंत में पर्यटक पारंपरिक त्यौहार तीज के अवसर पर सिटी पैलेस से लेकर पुराने शहर से होकर गुजरने वाले राजसी जुलूस को देख सकेंगे.पिछले कुछ वर्षो से दौसा जिले में 26 सितम्बर से 28 सितम्बर के मध्य मनाया जाने वाले आभानेरी त्यौहार में भी पर्यटकों की रूचि देखने को मिली है। दौसा जिले में हरषत माता का मंदिर और चांद बावडी भी पर्यटकों के आर्कषण का केन्द्र बनती जा रही है.
7 से 8 अक्टूबर तक जोधपुर संभाग का मारवाड त्यौहार सन सिटी में मनाया जायेगा। 25 से 26 नवम्बर तक अलवर जिले में मनाया जाने वाला मत्स्य त्यौहार भी काफी लोकप्रिय हो रहा है.
सिंह ने बताया कि सभी त्यौहारों में अजमेर जिले के पुष्कर नगर में मनाया जाने वाला पुष्कर मेला वि प्रसिद्ध है. पुष्कर मेले का आयोजन 31 अक्टूबर से 6 नवम्बर तक होगा. पुष्कर न केवल धार्मिक दृष्टि से महत्वपूर्ण है बल्कि यहां मेले के दौरान प्रसिद्घ पशु मेले का भी आयोजन किया जाता है. इस पशु मेले में न केवल राजस्थान से बल्कि पडोसी राज्यों से भी लोग अपने पशुओं को खरीदने और बेचने आते है.
उन्होंने बताया कि इस मेले के दौरान पर्यटन विभाग द्वारा सांस्कृतिक कार्यक्र मों का भी आयोजन किया जाता है. जिसमें राजस्थान के लोक कलाकार अपनी प्रस्तुति देते हैं. इसके अलावा रस्साकसी प्रतियोगिता का भी आयोजन किया जाता है जिसमें देशी-विदेशी पर्यटक बढ-चढकर भाग लेते है.
उन्होंने बताया कि इसी तरह 5 नवम्बर से 7 नवम्बर मे मध्य प्रतिवर्ष झालावाड जिले के झालरापाटन में चंद्रभाग मेले का आयोजन किया जाता है.इस मेले में भी देशी विदेशी पर्यटक भाग लेते है.
सिंह ने बताया कि 9 से 11 नंवबर तक बूंदी जिले में बूंदी महोत्सव का आयोजन किया जाता हैं. इस मेले में लोक कलाकार और प्रसिद्घ शास्त्रीय कलाकार शिरकत करते हैं और पर्यटकों को अपनी कला का प्रदर्शन कर रिझाने का प्रयास करतें है.
उन्होंने कहा कि पर्यटन विभाग इन त्यौहारों के सीजन के दौरान पर्यटकों को और अधिक आर्कषित करने के लिये प्रयासरत है जिससे न केवल विदेशी बल्कि अधिक से अधिक देशी पर्यटक भी राजस्थान के इन त्यौहारों के बारे में जान सकें.
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