सफल भारत-पाक वार्ता कश्मीरी अवाम की आकांक्षाओं पर निर्भर : गिलानी
कट्टरपंथी अलगाववादी नेता सैयद अली शाह गिलानी ने कहा कि भारत-पाक वार्ता तभी सफल हो सकती है कि जब दोनों पक्ष कश्मीर मुद्दे पर चर्चा इसके लोगों की इच्छाओं और आकांक्षाओं के मुताबिक करें.
कट्टरपंथी अलगाववादी नेता सैयद अली शाह गिलानी (फाइल फोटो) |
गिलानी ने एक बयान में कहा, ‘‘भारत और पाकिस्तान के बीच मूल विषय कश्मीर विवाद है. जब तक यह विवाद कश्मीरी लोगों की इच्छाओं और आकांक्षाओं के मुताबिक हल नहीं होगा तब तक दोनों पड़ोसियों के बीच वार्ता सफल नहीं होगी..इन वार्ताओं से कुछ भी ठोस निकल सकने की उम्मीद नहीं है.’’
अलगाववादी नेता ने कहा कि पाकिस्तान ने अब तक 150 दौर की वार्ता की है लेकिन इन वार्ताओं से कुछ नहीं निकला है..ना ही इसने दोनों देशों के बीच संबंध बेहतर किए हैं.
हुर्रियत नेता ने कहा कि पाकिस्तानी प्रधानमंत्री ने अपने ब्रिटिश समकक्ष डेविड कैमरन के साथ राष्ट्रमंडल शासन प्रमुख बैठक (चोगम) में भारत के साथ बेशर्त वार्ता की ओर संकेत दिया था. शरीफ ने कहा था कि वार्ता के खिलाफ कोई नहीं है और सभी मुद्दों तथा विवादों का हल आखिरकार साथ बैठ कर किया जाए.
गिलानी ने कहा कि लेकिन भारत और पाक के बीच वार्ता का इतिहास उतना अच्छा नहीं रहा है और विभाजन के समय दोनों राष्ट्रों के बीच मौजूद रहे मुद्दे 2015 में भी अनसुलझे हैं.
अलगाववादी नेता ने कहा, ‘‘कश्मीर दोनों देशों के बीच सिर्फ एक विवाद नहीं है बल्कि यह भविष्य का मुद्दा है..जीवन मरण का सवाल है..1. 5 करोड़ लोगों का.’’
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