'चंबल एक्सप्रेस-वे' से पिछड़े क्षेत्र को गति मिलेगी : गडकरी

Last Updated 25 Aug 2020 03:49:34 PM IST

केंद्रीय सड़क परिवहन और राजमार्ग एवं सूक्ष्म, लघु व मध्यम उद्यम मंत्री नितिन गडकरी ने मध्य प्रदेश को 45 सड़क परियोजनाओं की सौगात देते हुए उम्मीद जताई कि कि चंबल एक्सप्रेस-वे ('अटल बिहारी वाजपेयी चंबल प्रोग्रेस-वे') हाईवे में बदलेगा और पिछड़े क्षेत्रों में विकास की गति तेज होगी


नितिन गडकरी(फाइल फोटो)

गडकरी ने मंगलवार को वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिए 45 सड़क परियोजनाओं का लोकार्पण और शिलान्यास किया। यह 45 परियोजनाएं लगभग साढ़े 11 हजार करोड़ की लागत की है। शिलान्यास एवं लोकार्पण कार्यक्रम की मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने अध्यक्षता की।

ज्ञात हो कि पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी की पुण्यतिथि पर मुख्यमंत्री चौहान ने 'चंबल प्रोग्रेस-वे' उसका नाम 'अटल बिहारी वाजपेयी चंबल प्रोग्रेस-वे' करने का ऐलान किया था। पहले इसका नाम चंबल एक्सप्रेस-वे था, जिसे राज्य सरकार ने चंबल प्रोग्रेस-वे किया था।

इस मौके पर मंत्री गडकरी ने प्रस्तावित चंबल एक्सप्रेस-वे ('अटल बिहारी वाजपेयी चंबल प्रोग्रेस-वे') को पिछड़े क्षेत्र में विकास की गति में तेजी लाने में मददगार बताया और कहा कि इस एक्सप्रेस-वे का काम जल्द ही शुरू होगा और हाईवे में बदलेगा, यह एक्सप्रेस-वे तीन राज्यों के पिछड़े क्षेत्रों से होकर गुजरेगा, इसके लिए आठ हजार करोड़ रुपये के इस को मंजूरी देता हूं। इस मार्ग से इस क्षेत्र को विकास की नई गति मिलेगी।

उन्होंने बताया कि यह एक्सप्रेस-वे 358 किलोमीटर लंबा है, जिसमें से 309 मध्यप्रदेश से, 17 किलोमीटर उत्तर प्रदेश और 32 किलोमीटर राजस्थान से होकर गुजरेगा। यह एक्सप्रेस-वे चंबल नदी के समानांतर होगा। इटावा से कोटा तक जाएगा। यह एक्सप्रेस-वे आगे जाकर दिल्ली-मुंबई कॉरिडोर से जुड़ेगा।

वहीं इससे पहले मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि यह सड़क परियोजनाएं प्रदेश के लिए वरदान साबित होंगी। इसके साथ ही उन्होंने नर्मदा नदी के क्षेत्र में नर्मदा एक्सप्रेस-वे बनाने की भी चर्चा की।

गडकरी ने जिन 45 परियोजनाओं का शिलान्यास और लोकार्पण किया है, उनमें 19 परियोजनाओं का शिलान्यास और 26 कार्यो का लोकार्पण शामिल है।

शिलान्यास व लोकार्पण कार्यक्रम में सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता मंत्री डॉ़ थावरचंद गहलोत, पंचायत राज, ग्रामीण विकास, कृषि एवं किसान कल्याण मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर, केंद्रीय राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार), पर्यटन एवं संस्कृति प्रहलाद सिंह पटेल, केंद्रीय इस्पात राज्यमंत्री फग्गन सिंह कुलस्ते, केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग राज्यमंत्री जनरल वी़ के. सिंह (सेवानिवृत्त) सहित मध्यप्रदेश शासन के मंत्री, परियोजना क्षेत्र से जुड़े सांसद एवं विधायक भी शामिल रहे।

यह सड़क परियोजनाएं राज्य के लगभग 49 विधानसभा क्षेत्रों से हेाकर गुजरने वाली है। इसे राजनीतिक दृष्टि से भी काफी अहम माना जा रहा है। ऐसा इसलिए, क्योंकि यह सड़क परियोजनाएं जिन क्षेत्रों से जुड़ी है उनमें से कई क्षेत्रों में आगामी समय में विधानसभा के उपचुनाव भी होने वाले है।
 

आईएएनएस
भोपाल


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