मुरैना की रेखा बनीं नजीर, प्रधानमंत्री करेंगे कृषि कर्मण पुरस्कार से सम्मानित
मध्य प्रदेश के चम्बल अंचल में जहां आज भी समाज महिलाओं को घर की दहलीज लांगने की इजाजत नहीं देता. वहीं एक महिला लोगों के लिए नजीर बन गई है.
(फाइल फोटो) |
मुरैना जिले के पहाड़गढ़ ब्लॉक के गांव जलालपुर में रहने वाली महिला रेखा त्यागी ने पति की मौत के बाद न सिर्फ खेतों में हल चलाकर अपने परिवार का पेट भरा बल्कि नयी टेक्नोलॉजी अपनाकर सघनता पद्धति से खेती कर एक हेक्टेयर भूमि पर सर्वाधिक 49.39 क्विंटल बाजरा का उत्पादन करके दिखाया.
इस महिला किसान की खेती के प्रति समर्पण देखकर राज्य सरकार की अनुशंसा पर उन्हें कृषि कर्मण पुरस्कार दिया जायेगा. उन्हें यह पुरस्कार प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा दिया जायेगा.
रेखा त्यागी के पति का ग्यारह साल पहले देहांत हो गया था. उसके बाद परिवार की जिम्मेदारी उनके कंधों पर आ गई. रेखा के दो बेटियां और एक बेटा है. रेखा ने हिम्मत न हारते हुए अपने हिस्से के खेतों में खेती की और अपने परिवार को पाला. अपने बच्चों को पढ़ाया. एक बेटी की शादी की.
इस साल रेखा ने बाजरे की फसल का सवार्धिक उत्पादन कर प्रदेश के सभी पुरुष किसानों को पीछे छोड़ दिया और खुद को कमजोर समझने बाली महिलाओं के लिए प्रेरणा बन गईं.
रेखा को कृषि कर्मण पुरस्कार की घोषणा ने पूरे अंचल को गौरवान्वित किया है. ग्रामीणों के अनुसार रेखा सुबह से शाम तक सिर्फ काम ही करती मिलती हैं.
पति की मौत के बाद से ही रेखा ने अपने परिवार का अच्छे से खयाल रखा. सुबह बच्चों को स्कूल भेजने के लिए तैयार करना हो, पालतू जानवरों को चारा डालना हो या फिर खेती करनी हो, रेखा बहुत मेहनत और लगन से सभी कार्य करती हैं. उसी का नतीजा है की उनको मध्य प्रदेश में सर्वाधिक फसल का उत्पादन करने के लिए पुरस्कार दिया जायेगा.
ग्रामीणों ने कहा कि उन्होंने कभी नहीं सोचा था कि उनके गांव की एक महिला को प्रधानमंत्री के द्वारा पुरस्कृत किया जायेगा. ये गांव और इलाके के लिए गौरव की बात है और सभी महिलाओं के लिए प्रेरणा की बात है.
Tweet |