बिहार चुनाव: हारें या जीतें दोनों हाथों में लड्डू
बिहार चुनाव के दंगल में इस बार तीन माननीय ऐसे दिग्गज हैं जिनके दोनों हाथों में लड्डू है चाहे वह विधानसभा का चुनाव जीते या हारे.
बिहार विधानसभा |
बिहार में इस बार के विधानसभा चुनाव में ऐसे माननीय दिग्गज मैदान में है जिनके दोनों हाथों में लड्डू है. विधानसभा की 243 सीटों के लिए पांच चरणों में हो रहे चुनाव में तीन माननीय फिर से चुनावी दंगल में कूद पड़े हैं. चुनाव में कूदें इन माननीय के दोनों हाथों में लड्डू है चाहे वह विधानसभा का चुनाव जीते या हारे. हर हाल में इनके दोनों ही हाथों में लड्डू रहेगा.
राजनीतिक दलों के दिग्गज माननीय अपनी जीत सुनिश्चित समझ कर इस चुनावी रेस में उतरे हैं. इस चुनावी रेस में हिन्दुस्तानी आवाम मोर्चा (हम), राष्ट्रीय जनता दल (राजद) और जनता दल यूनाइटेड (जदयू) के विधान पाषर्द हैं जो पहले से ही माननीय है.
सबसे अहम बात तो यह है कि सभी दलों ने पहले यह घोषणा की थी कि वे अधिक से अधिक पार्टी के समर्पित कार्यकर्ताओं को ही तरजीह देंगे लेकिन नीति सिद्धांत को दर किनार कर इन दलों ने अपने सधे हुए तीन दिग्गज माननीय योद्धाओं को चुनावी दंगल में उतारा है. हालांकि लोकसभा का चुनाव हो या विधानसभा का, ऐसे दिग्गज टिकट के जुगाड़ में माहिर माने जाते हैं जिनके दोनों हाथो में लड्डू होता है.
इस रेस में जदयू के नेतृत्व वाला महागठबंधन सबसे आगे है. इस महागठबंधन के घटक राजद के विधान पाषर्द भोला यादव बहादुरगंज विधानसभा क्षेत्र से चुनावी दंगल में उतरे हैं.
यादव राजद अध्यक्ष लालू प्रसाद यादव और पूर्व मुख्यमंत्री श्रीमती राबड़ी देवी के बेहद करीबी है. वहीं इसी महागठबंधन के घटक दल जद यू ने नीरज कुमार को मोकामा से उम्मीदवार बनाया है. श्री कुमार अभी विधान पाषर्द हैं.
वहीं दूसरी ओर राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन के घटक हम ने विधान पाषर्द और पूर्व मंत्री महाचंद्र प्रसाद सिंह को हथुआ से टिकट देकर उम्मीदवार बनाया है. सिंह पूर्व मुख्यमंत्री और हम के राष्ट्रीय अध्यक्ष जीतन राम मांझी के बेहद करीबी होने के कारण वह संकट के समय हमेशा खड़े रहते है.
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