जमात के कारण बढ़ी कोरोना मरीजों की संख्या : आरएसएस

Last Updated 07 Apr 2020 02:39:00 AM IST

दिल्ली के निजामुद्दीन में तब्लीगी जमात के आयोजन के बाद से देश में कोरोना के बढ़ते मामलों को लेकर राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) ने मुस्लिम संगठन पर निशाना साधते हुए कहा है कि आंकड़े सच बताते हैं।


आरएसएस के सह सरकार्यवाह मनमोहन वैद्य (file photo)

आरएसएस ने कहा कि जमात के कारण कोरोना ग्रस्त लोगों की संख्या बढ़ी है और यह बात सभी लोग मान रहे हैं। आरएसएस के सह सरकार्यवाह मनमोहन वैद्य ने कहा कि अगर उनका नेतृत्व समय पर कार्यक्रम निरस्त करता तो अच्छा रहता। मनमोहन वैद्य ने वीडियो कांफ्रेंसिंग से अपने संदेश में कहा, ‘संघ की अखिल भारतीय प्रतिनिधि सभा की 15, 16 और 17 मार्च को बेंगलुरू में बैठक होने वाली थी। उस समय लॉकडाउन नहीं हुआ था। 1500 कार्यकर्ता आने वाले थे, लेकिन यह नेतृत्व की गंभीरता थी, जो बैठक को निरस्त कर दिया गया। जो लोग पहुंच चुके थे, उन्हें बेंगलुरू में अलग-अलग जगहों पर रोककर गाड़ी से वापस भेजने की व्यवस्था की गई। अगर इनके लोग भी ऐसी गंभीरता दिखाते तो यह सब नहीं होता।’

मनमोहन वैद्य ने जमात की हरकतों की निंदा करते हुए कहा, ‘माना कि जानकारी के अभाव में पहले कुछ नहीं कर सके तो फिर बाद में छुपे रहना, दूसरों को छुपाना, जो जांच के लिए आ रहे हैं। यह उनके साथ बेहूदा व्यवहार करना, अस्पताल की लेडी नर्स के साथ गलत हरकत करना, यह सब विकृत मानसिकता का परिचायक है। यह मानसिकता ठीक नहीं है।’
कोरोना फैलाने में साजिश के आरोपों पर टिप्पणी करने से इनकार करते हुए मनमोहन वैद्य ने कहा कि तब्लीगी जमात के लोग एक्सपोज (बेनकाब) हो गए हैं। उन्होंने कहा, ‘कोरोना के खिलाफ लड़ाई का मुस्लिम समाज के बहुत बड़े वर्ग ने समर्थन किया है, लेकिन एक वर्ग उतना संवेदनशील और जिम्मेदार नहीं है। मुस्लिम समुदाय से ही उनका विरोध हो रहा है।

आईएएनएस
नई दिल्ली


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