लोकसभा : 21 सदस्य शेष सत्र के लिए निलंबित
कावेरी नदी पर बांध के मुद्दे और आंध्र प्रदेश के लिए विशेष दज्रे की मांग को लेकर क्रमश: अन्नाद्रमुक एवं तेलुगु देशम पार्टी (तेदेपा) के सदस्यों के हंगामे के कारण बृहस्पतिवार को लोकसभा की कार्यवाही दो बार के स्थगन के बाद दिनभर के लिए स्थगित कर दी गई।
लोकसभा अध्यक्ष सुमित्रा महाजन (फाइल फोटो) |
लोकसभा अध्यक्ष सुमित्रा महाजन ने आज जानबूझकर सदन में आसन के समीप आकर और नियमों का उल्लंघन करते हुए कार्यवाही में बाधा डालने के लिए तेदेपा के 13, अन्नाद्रमुक के 7 सदस्यों समेत कुल 21 सदस्यों को नियम 374 ए के तहत सदन की कार्यवाही से चार कामकाजी दिनों के लिए निलंबित कर दिया। इनके साथ ही असंबद्ध सदस्य रेणुका बूटा को भी चार कामकाजी दिन के लिए निलंबित कर दिया गया। रेणुका बूटा वाईएसआर कांग्रेस पार्टी की टिकट पर विजयी हुई थीं।
एक बार के स्थगन के बाद सदन की कार्यवाही दोबारा फिर शुरू हुई तो सदन में अन्नाद्रमुक और तेदेपा सदस्यों का शोर शराबा प्रश्नकाल की तरह ही जारी रहा। अन्नाद्रमुक और तेदेपा के सदस्य आसन के निकट पहुंचकर नारेबाजी करने लगे। हंगामा कर रहे कुछ सदस्यों ने कागज के टुकड़े उछाले। हंगामे के बीच संसदीय कार्य मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने कहा कि सदन की मर्यादा भंग की जा रही है। राफेल मामले पर और देश के मुद्दों पर चर्चा होनी है।
सदस्यों से आग्रह है कि अपने स्थान पर जाएं। सदन में हंगामे के बीच सुमित्रा महाजन ने आवश्यक कागजात रखवाए। स्पीकर की चेतावनी के बाद भी हंगामा जारी रहा। इसके बाद अन्नाद्रमुक और तेदेपा के 19 सदस्यों को चार कामकाजी दिनों के लिए सदन से निलंबित कर दिया गया। लोकसभा अध्यक्ष ने करीब 12:15 बजे कार्यवाही दोपहर दो बजे तक के लिए स्थगित कर दी।
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