राहुल भी रह गए हतप्रभ
बिहार के निवर्तमान मुख्यमंत्री नीतीश कुमार शनिवार को कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी से लालू के बेटे के विषय पर मिले थे, पर उन्होंने अपने इस्तीफे की भनक तक नहीं लगने दी.
कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी (file photo) |
कांग्रेस हतप्रभ है कि इस्तीफे के लिए राजभवन के करीब पहुंचकर नीतीश ने राहुल के बजाय बिहार के प्रभारी महासचिव सीपी जोशी को फोन किया.
जबकि इससे पहले कभी नीतीश ने सीपी जोशी को तरजीह नहीं दी थी. वो सीधे फोन पर राहुल से ही बात करते थे. कांग्रेस में नीतीश के इस व्यवहार को धोखे की तरह ही लिया जा रहा है.
दरअसल राहुल गांधी उन पर बड़ा भरोसा करते थे. मोदी की भाजपा के खिलाफ 2019 की तैयारी में वह विपक्ष की तरफ से नीतीश को प्रमुख भूमिका में रखना चाहते थे.
दोनों के बीच शनिवार की आखिरी मुलाकात में सांप्रदायिक शक्तियों के उभरने और दलित-अल्पसंख्यक पर हमले और सामाजिक संगठनों-मीडिया की आवाज दबाने जैसे मुद्दों पर विस्तार से बात हुई थी.
नीतीश ने राहुल को विास दिलाया था कि इन मुद्दों पर गैर विपक्षी दलों का कुनबा बढ़ाने के लिए उनसे जो बन पड़ेगा वह करेंगे. कांग्रेस अभी इस प्रश्न का जवाब नहीं दे रही है कि वह नीतीश के साथ खड़ी रहेगी या फिर लालू के साथ.
| Tweet |