सरकार ने पेरिस जलवायु समझौते के अनुमोदन को दी मंजूरी

Last Updated 28 Sep 2016 10:51:02 PM IST

ऐतिहासिक पेरिस जलवायु समझौते के अनुमोदन के प्रस्ताव को सरकार ने आज मंजूरी दे दी, जिसे दो अक्तूबर को महात्मा गांधी की जयंती पर औपचारिक रूप दिया जाएगा. इससे भारत उन महत्वपूर्ण देशों में से एक हो जाएगा जो समझौते को लागू करने में मदद करेगा.




केंद्रीय मंत्री प्रकाश जावडेकर (फाइल फोटो)

केंद्रीय मंत्रिमंडल ने यह मंजूरी तब दी जब कुछ दिन पहले प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस कदम के बारे में घोषणा की थी. इससे भूमंडलीय तापन पर नियंत्रण करने के लिए अंतरराष्ट्रीय स्तर पर कदमों को लागू करने में गति मिलेगी.

हालांकि सरकार ने राष्ट्रीय कानूनों, लागू करने के साधनों की उपलब्धता और जलवायु परिवर्तन से लड़ने के प्रति वैश्विक प्रतिबद्धता के अपने आकलन के संदर्भ में समझौते का अनुमोदन करने का फैसला किया है.

एक आधिकारिक विज्ञप्ति में बताया गया, \'\'पेरिस समझौते का अनुमोदन करने पर सहमत होने के दौरान मंत्रिमंडल ने फैसला किया है कि भारत को घोषणा करनी चाहिए कि भारत अपने राष्ट्रीय कानूनों, अपने विकास के एजेंडा, कार्यान्वयन के साधनों की उपलब्धता, जलवायु परिवर्तन से लड़ने के लिए वैश्विक प्रतिबद्धता के आकलन और स्वच्छ ऊर्जा के स्रोत तक पूर्वानुमेय और वहनीय पहुंच को उस संदर्भ के तौर पर रखेगा जिसके तहत समझौते का अनुमोदन किया जा रहा है.\'\'

केंद्रीय मंत्री प्रकाश जावडेकर ने कहा कि इसके साथ भारत उन महत्वपूर्ण देशों में एक होगा जो ऐतिहासिक पेरिस समझौते को लागू करने में सहायक भूमिका निभाएंगे.

जावडेकर ने यहां संवाददाताओं से कहा, \'\'आज केंद्रीय मंत्रिमंडल ने पेरिस समझौते के अनुमोदन को मंजूरी दे दी, जो ऐतिहासिक फैसला है. अनुमोदन के साथ भारत उन देशों में से एक होगा जो पेरिस समझौते को लागू कराने में सहायक होंगे.\'\'

यह फैसला भारत के जिम्मेदार नेतृत्व को रेखांकित करेगा, जो पर्यावरण संरक्षण और पर्यावरण न्याय के वैश्विक उद्देश्य के प्रति समर्पित है.




जावडेकर ने कहा कि पेरिस समझौते के लागू होने की दो शत्रें हैं. समझौता तब लागू होगा जब ऐसे कम से कम 55 देश इसका अनुमोदन करते हैं. वैश्विक ग्रीनहाउस गैस का 55 फीसदी यही देश उत्सर्जित करते हैं.

उन्होंने कहा कि यद्यपि अब तक 61 देशों ने अनुमोदन, स्वीकार करने या मंजूरी के अपने दस्तावेज सौंपे हैं. इन देशों की कुल वैश्विक ग्रीन हाउस गैसों के उत्सर्जन में 47.79 फीसदी हिस्सेदारी है. भारत के समझौते का अनुमोदन करने के फैसले से अब तक समझौते का अनुमोदन करने वाले देशों से उत्सर्जन का कुल आंकड़ा 51.89 फीसदी पर आ जाएगा. वैश्विक उत्सर्जन में भारत की हिस्सेदारी 4.1 फीसदी है.

मंत्री ने इससे पहले संवाददाताओं से कहा था कि 61 देशों का कुल उत्सर्जन 51.89 फीसदी है और भारत का अनुमोदन दूसरी शर्त को पूरी करने के लिए शेष तीन फीसदी के अंतर को भी पूरा करने में मदद करेगा.

जावडेकर ने कहा कि यद्यपि संयुक्त राष्ट्र सचिवालय सप्ताहांत में बंद रहता है लेकिन समझौते का अनुमोदन करने की भारत को अनुमति देने के लिए यह विशेष रूप से खुला रहेगा.

पेरिस समझौते को पिछले साल 12 दिसंबर को 185 देशों ने अंगीकार किया था और इस साल 22 अप्रैल को भारत ने न्यूयॉर्क में इसपर हस्ताक्षर किया था. अब तक कुल 191 देशों ने पेरिस समझौते पर हस्ताक्षर किये हैं.

 

 



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