गौवध और भैंस वध पर प्रतिबंध होना चाहिए : मेनका

Last Updated 21 Apr 2015 06:01:02 AM IST

केंद्रीय महिला और बाल विकास मंत्री मेनका ने कहा कि गौवध और भैंस वध पर प्रतिबंध होना चाहिए.


केंद्रीय महिला और बाल विकास मंत्री मेनका (फाइल फोटो)

गायों और भैंसों के वध पर राष्ट्रीय प्रतिबंध लगाने की वकालत करते हुए केंद्रीय महिला और बाल विकास मंत्री मेनका गांधी ने देर रात कहा कि ऐसे किसी कदम को धार्मिक रंग देना गलत होगा.

मेनका गांधी ने देर रात दिल्ली में दिए एक साक्षात्कार में कहा, ‘‘मैं समझती हूं कि गौवध और भैंस वध पर प्रतिबंध होना चाहिए, इसका कारण यह है कि इसमें 90 फीसदी गैर कानूनी है.

कानून कहता है कि आप एक तय उम्र (14 या 16) के बाद उन्हें मार सकते हैं. लेकिन जो सब अभी मारी जा रही हैं वे या तो गर्भवती हैं या दुधारू गायें हैं.’’

उन्होंने कहा, ‘‘क्योंकि यदि इन्हें निर्यात किया जाना है तो कोई भी उन्हें बूढा नहीं लेना चाहता. वे केवल उन्हीं को चाहते हैं जो अपने जीवन के चरम पर हैं.’’

मेनका ने कहा, इसके परिणामस्वरूप क्या आपने दूध पर इसका असर देखा है. उन्होंने कहा, ‘‘देश में हमारे पास दूध नहीं है.’’

दो साल पहले आयी रिपोटरें का उल्लेख करते हुए मेनका गांधी ने कहा कि इस देश में 80 फीसदी दूध फर्जी है और पूरे उत्तर प्रदेश तथा बिहार राज्य में वास्तव में कहीं दूध नहीं है और जो मिल रहा है वह केवल ‘‘मिलावटी दूध’’ है.

उन्होंने कहा, ‘‘यह धार्मिक पहलू नहीं हो सकता. हिंदू गायों और भैंसों को मारने के लिए बेचते हैं. सरदारों से लेकर हर प्रकार के लोग या ट्रक ड्राइवर उन्हें ट्रकों में एक के ऊपर एक लाद कर ले जाते हैं.

मुस्लिम कसाई है लेकिन वे इसलिए कि यह उनका पेशा है. इसलिए इसमें धर्म का पहलू होने का कोई सवाल नहीं है.’’ उनसे सवाल किया गया था कि क्या वे इस कदम के पीछे कोई धार्मिक पहलू देखती हैं.



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