तीन देशों की यात्रा के बाद प्रधानमंत्री मोदी स्वदेश लौटे

Last Updated 18 Apr 2015 04:35:48 PM IST

प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी तीन देशों..फ्रांस, जर्मनी और कनाडा की की यात्रा के बाद तड़के स्वदेश पहुंच गए.


प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी

इस यात्रा के दौरान फ्रांस के साथ 36 राफेल विमानों की आपूर्ति और कनाडा के साथ यूरेनियम करार सहित विभिन्न महत्वपूर्ण समझौतों पर हस्ताक्षर किए गए.

दिल्ली भाजपा प्रमुख सतीश उपाध्याय समेत पार्टी के विधायक और अन्य वरिष्ठ नेता प्रधानमंत्री मोदी के स्वागत के लिए पालम स्थित टेक्निकल एयरफोर्स बेस पर मौजूद थे.

प्रधानमंत्री का विमान ईंधन भरने के लिए कुछ समय फ्रैंकफर्त में रकने के बाद नयी दिल्ली के लिए रवाना हुआ.

प्रधानमंत्री मोदी ने स्वदेश रवानगी से पूर्व कल एक ट्वीट में कहा, ‘‘प्रधानमंत्री हार्पर का विशेष रूप से शुक्रिया एक बेहतरीन मेजबान, शानदार इंसान और बेहद प्रिय दोस्त.’’

प्रधानमंत्री ने अपनी स्वदेश रवानगी से पूर्व एक अन्य ट्वीट में कहा, ‘‘मैं अत्यंत संतोष के साथ कनाडा से रवाना हो रहा हूं. यह यात्रा भारत-कनाडा संबंधों को और मजबूती प्रदान करेगी. कनाडा के लोगों का बहुत बहुत शुक्रिया.’’

मोदी की इस यात्रा में ‘‘मेक इन इंडिया’’ कार्यक्र म के जरिए भारत के विकास के लिए निवेश और तकनीक को आकषिर्त करने पर विशेष जोर रहा.

अपनी जर्मनी यात्रा के दौरान मोदी ने हनोवर मेले का उद्घाटन किया जिसमें भारत एक साझेदार देश था और इसका शीषर्क ‘‘मेक इन इंडिया’’ रखा गया था.

मोदी के इस नौ दिवसीय दौरे का पहला पड़ाव फ्रांस था.

पेरिस में अपने प्रवास के दौरान मोदी ने राष्ट्रपति फ्रांस्वा ओलांद तथा कारोबारी नेताओं से मुलाकात की.

इस दौरान एक समझौते पर हस्ताक्षर किए गए जिसके तहत भारत फ्रांस से उड़ान भरने के लिए तैयार 36 राफेल लड़ाकू विमान खरीदेगा. इसके साथ ही महाराष्ट्र के जैतापुर में बंद पड़ी परमाणु परियोजना पर भी आगे बढ़ने का फैसला किया गया.

इसके बाद प्रधानमंत्री जर्मनी गए जहां उन्होंने जर्मन चांसलर एंजेला मर्केल के साथ बातचीत की और जर्मनी से निवेश एवं कारोबार को सुगम बनाने के लिए एक पण्राली स्थापित किए जाने की भी घोषणा की. दोनों देशों ने द्विपक्षीय आर्थिक सहयोग को विस्तार देने पर भी सहमति जतायी.

मोदी की यात्रा का अंतिम पड़ाव कनाडा था जहां कारोबारी नेताओं से मुलाकात करने और टोरंटो तथा वेंकूवर में रूकने के साथ ही उन्होंने कनाडा के प्रधानमंत्री स्टीफन हार्पर से ओटावा में मुलाकात की. इस मुलाकात के बाद कनाडा 25 करोड़ 40 लाख डॉलर वाले पांच वर्षीय एक सौदे के तहत इस साल से भारतीय परमाणु रिएक्टरों के लिए भारत को तीन हजार मीट्रिक टन यूरेनियम की आपूर्ति करने पर सहमत हो गया.
 



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