प्रधानमंत्री को उम्मीद, शीतकालीन सत्र होगा सार्थक
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सोमवार को उम्मीद जताई कि संसद में विपक्ष सहयोग करेगा और शीतकालीन सत्र सार्थक तथा परिणामकारी होगा.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (फाइल फोटो) |
हालांकि कई दलों ने स्पष्ट किया है कि वे सरकार के सुधार संबंधी कुछ कदमों का विरोध करेंगे.
संसद के शीतकालीन सत्र के पहले दिन मोदी ने संसद भवन परिसर में संवाददाताओं से कहा ‘‘देश के लोगों ने हमें सरकार चलाने की जिम्मेदारी दी है और साथ ही संसद सदस्यों को देश चलाने की जिम्मेदारी सौंपी है.’’
बजट सत्र में विपक्ष द्वारा निभाई गई ‘‘सकारात्मक भूमिका’’ की सराहना करते हुए मोदी ने संसद सदस्यों से ‘‘वैसे ही सहयोग’’ की अपेक्षा जताई.
प्रधानमंत्री ने कहा ‘‘मुझे पूरा विास है कि शांत मन और शांत वातावरण में जन कल्याण के लिए बहुत सारा काम किया जाएगा.’’
मोदी ने कहा कि उनका मानना है कि जिन लोगों पर सरकार चलाने की जिम्मेदारी है और जिन पर देश चलाने की जिम्मेदारी है, वे देश की प्रगति के लिए मिल कर काम करेंगे.
उन्होंने कहा ‘‘मुझे उम्मीद है कि यह सत्र सार्थक और परिणामकारी होगा.’’
मोदी ने कहा ‘‘पिछले सत्र में विपक्ष की सकारात्मक भूमिका की वजह से अच्छा काम हुआ था. मुझे उम्मीद है कि हमें इस बार भी वही अनुभव होगा.’’
उनका यह बयान महत्वपूर्ण है क्योंकि कई विपक्षी दलों ने बीमा विधेयक का विरोध करने और काले धन के मुद्दे पर सरकार को घेरने का फैसला किया है. इससे संसद का यह सत्र हंगामी होने के संकेत हैं.
सत्र की शुरूआत से एक दिन पहले, कल मोदी ने सर्वदलीय बैठक को संबोधित करते हुए आश्वासन दिया था कि आपस में मिल कर सभी महत्वपूर्ण मुद्दों को लिया जा सकेगा. उन्होंने उम्मीद जताई थी कि एक माह चलने वाला यह सत्र बजट सत्र की तरह ही बहुत अच्छी तरह चलेगा.
वाम दलों, तृणमूल कांग्रेस, जदयू, राजद, सपा और बसपा ने बीमा विधेयक के विरोध में एकजुट होने का फैसला किया है. इन दलों ने कांग्रेस से भी ‘‘विपक्ष की व्यापक एकता’’ के लिए समर्थन मांगा है.
लोकसभा में विपक्ष के नेता मल्लिकाजरुन खड़गे ने हालांकि कहा है कि पार्टी पहले यह देखेगी कि सरकार क्या संशोधन लाती है.
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