राहुल ने पिता राजीव की तरह हत्या के डर से सोनिया को नहीं बनने दिया प्रधानमंत्री : नटवर
पूर्व विदेश मंत्री नटवर सिंह ने दावा किया कि 2004 में सोनिया गांधी ने प्रधानमंत्री पद राहुल गांधी की वजह से ठुकराया था.
नटवर सिंह (फाइल फोटो) |
कभी गांधी परिवार के बेहद करीबी नटवर सिंह ने अगले महीने आने वाली अपनी किताब में कुछ खास खुलासे किये हैं. उनकी आने वाली आत्मकथा 'वन लाइफ इस नॉट एनफ' काफी चर्चाओं में है. यह किताब एक अगस्त को रिलीज होने वाली है.
नटवर सिंह ने एक टीवी चैनल को दिए इंटरव्यू में बताया कि 2004 में सोनिया गांधी के पीएम नहीं बनने की सबसे बड़ी वजह राहुल गांधी थे.
नटवर सिंह ने खुलासा किया कि राहुल गांधी को डर था अगर उनकी मां सोनिया, दादी इंदिरा गांधी और पिता राजीव गांधी की तरह पीएम बनीं तो उनकी भी हत्या कर दी जाएगी. यही वजह थी कि राहुल गांधी ने बेटा होने की दुहाई देते हुए सोनिया को पीएम नहीं बनने दिया.
नटवर सिंह ने बताया कि तब राहुल गांधी ने स्पष्ट कहा था कि वह अपनी मां को प्रधानमंत्री नहीं बनने देना चाहते और उन्हें रोकने के लिए वह हरसंभव कोशिश करेंगे. राहुल गांधी ने अपनी मां सोनिया गांधी को सोचने के लिए 24 घंटों का समय दिया था. हालांकि राहुल के बेटे के तौर पर अपना निर्णय पहले ही सुना चुके थे. आखिरकार सोनिया गांधी को भी राहुल की इस अपील का सम्मान करना पड़ा.
नटवर सिंह ने बताया कि उन्हें इस बात की जानकारी थी. इसलिए प्रियंका गांधी उनसे मिली थीं और अनुरोध किया था कि वह राहुल गांधी के सोनिया गांधी को पीएम पद न स्वीकारने वाली बात को किताब से हटा दें. राहुल और सोनिया गांधी ने भी उनसे ऐसा ही अनुरोध किया था.
इंदिरा से भी ज्यादा ताकतवर सोनिया
नटवर सिंह ने बताया कि जब वह पार्टी में थे तो सोनिया गांधी का कांग्रेस पर पूरा नियंत्रण था. सोनिया गांधी ने कभी इंटेलेक्चुअल होने का दावा नहीं किया, लेकिन उनके शब्द ही पार्टी के लिए कानून थे. कांग्रेस पर सोनिया का नियंत्रण इंदिरा गांधी से भी ज्यादा था और वह इंदिरा से भी ज्यादा ताकतवर नजर आती थीं.
मनमोहन के खिलाफ थे लालू
पूर्व विदेश मंत्री ने दावा किया कि यूपीए के घटक दल आरजेडी प्रमुख लालू प्रसाद यादव और एलजेपी प्रमुख रामविलास पासवान नहीं चाहते थे कि मनमोहन सिंह प्रधानमंत्री बने. यही नहीं, मनमोहन सिंह का नाम सामने आने पर लालू प्रसाद यादव गुस्सा भी हो गए थे.
जो भी पूर्व विदेश मंत्री की किताब आने वाले समय में विरोधियों के हाथ एक मुद्दा देने जा रही है.
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