अंतरराष्ट्रीय अपराध न्यायालय का हिस्सा बना फलस्तीन
फलस्तीन औपचारिक रूप से अंतरराष्ट्रीय अपराध न्यायालय का हिस्सा बन गया है.
अंतरराष्ट्रीय अपराध न्यायालय (फाइल) |
इस कदम से फलस्तीन को आशा जगी है कि कथित युद्ध अपराधों के लिए इजरायलियों पर मुकदमा संभव हो सकेगा.
द हेग स्थित आईसीसी मुख्यालय में इस अवसर पर बंद कमरे में एक कार्यक्रम का आयोजन हुआ. फलस्तीन ठीक 90 दिन पहले संस्थापक ‘रोम स्टैचूट’ का हिस्सा बना था.
फलस्तीन ने इजरायल से भी अदालत का हिस्सा बनने का अनुरोध किया है. अदालत की स्थापना 2002 में हुई ताकि मानवता के खिलाफ अपराध, युद्ध अपराधों और नरसंहार आदि मामलों में सुनवायी की जा सके.
इजरायल के साथ दशकों की असफल वार्ता से दुखी और निकट भविष्य में बतौर राष्ट्र मान्यता मिलने संभावनाएं नजर नहीं आने के कारण फलस्तीन आईसीसी सहित अन्य अंतरराष्ट्रीय संस्थाओं का सदस्य बनने पर जोर दे रहा है.
समारोह में ‘रोम स्टैचूट’ की सांकेतिक प्रति प्राप्त करने के बाद विदेश मंत्री रिआद मल्की ने कहा, ‘‘फलस्तीन न्याय चाहता है, बदला नहीं.’’
मल्की ने कहा, ‘‘इजरायल को भी अंतरराष्ट्रीय अपराध न्यायालय का सदस्य बनने में हमारे साथ आना चाहिए.’’
इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ‘‘को डरना नहीं चाहिए. यदि इजरायल को हमसे कोई शिकायत है तो उन्हें आईसीसी में शामिल होकर अपना पक्ष रखना चाहिए.’’
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