धनतेरस पर क्यों खरीदते हैं सोना-चांदी, जानिए धार्मिक महत्व

PICS: धनतेरस पर क्यों खरीदते हैं सोना-चांदी, जानिए धार्मिक महत्व

देशभर में धनतेरस के त्योहार पर खरीददारी की रीत आज भी कायम है. आधुनिक युग की तेजी से बदलती जीवन शैली के बावजूद इस परंपरा में बदलाव नहीं आया है. समाज के सभी वर्गों के लोग सोने समेत कई महत्वपूर्ण चीजों की खरीदारी के लिए पूरे साल इस पर्व का बेसब्री से इंतजार करते हैं. हर साल कार्तिक माह के कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी को धन्वतरि त्रयोदशी (धनतेरस) मनाई जाती है. धनतेरस की पूजा के साथ दीपों का महापर्व शुरू हो जाता है. यह मूलत: धन्वन्तरि जयंती का पर्व है और आयुर्वेद के जनक धन्वन्तरि के जन्म दिवस के रूप में मनाया जाता है. धनतेरस के दिन नये बर्तन या सोना-चांदी खरीदने की परम्परा है. मान्यता है कि इस दिन खरीददारी करने से उसमें तेरह गुणा की वृद्धि होती हैं क्योंकि इस दिन स्थिर लक्ष्मी का वास होता है. इसी वजह से लोग इस दिन सौभाग्य का प्रतीक अपने घर जरूर लाते हैं. इस पर्व पर बर्तन खरीदने की शुरूआत कब और कैसे हुई. इसका कोई निश्चित प्रमाण तो नहीं है लेकिन ऐसा माना जाता है कि जन्म के समय धन्वन्तरि के हाथों में अमृत कलश था. यही कारण होगा कि लोग इस दिन बर्तन खरीदना शुभ मानते हैं. आने वाली पीढ़ियां अपनी परम्परा को अच्छी तरह समझ सकें. इसलिए भारतीय संस्कृति के हर पर्व से जुड़ी कोई न कोई लोककथा अवश्य है. धनतेरस से भी जुड़ी एक लोककथा है.

 
 
Don't Miss